डराने-धमकाने, उपदेश देने या दबाव डालने की जगह सहजता से किसी को भी सही राह पर लाया जा सकता है-पाठ के आधार पर तर्क सहित उत्तर दीजिए।
इस पाठ से स्पष्ट था कि मनुष्य के पास सबसे प्रभावी अस्त था यदि कोई सगा सबधी गलत राह पर हो तो उसे डराने धमकने उपदेश देने या दवाब डालने की जगह सहजता से व्यवहार करना था लेखिका की नानी ने भी यही किया उन्होंने अपने पति की अग्रेज भक्ति का न तो मुखर विरोध किया न समर्थन किया था I
लेखिका की माँ परंपरा का निर्वाह न करते हुए भी सबके दिलों पर राज करती थी। इस कथन के आलोक में-
(क) लेखिका की माँ की विशेषताएँ लिखिए।
(ख) लेखिका की दादी के घर के माहौल का शब्द-चित्र अंकित कीजिए।
सच, अकेलेपन का मज़ा ही कुछ और है’-इस कथन के आधार पर लेखिका की बहन एवं लेखिका के व्यक्तित्व के बारे में अपने विचार व्यक्त कीजिए।
शिक्षा बच्चों का जन्मसिद्ध अधिकार है’-इस दिशा में लेखिका के प्रयासों का उल्लेख कीजिए।
लेखिका ने अपनी नानी को कभी देखा भी नहीं फिर भी उनके व्यक्तित्व से वे क्यों प्रभावित थीं
लेखिका की नानी की आज़ादी के आंदोलन में किस प्रकार की भागीदारी रही?
पाठ के आधार पर लिखिए कि जीवन में कैसे इंसानों को अधिक श्रद्धा भाव से देखा जाता है?
आप अपनी कल्पना से लिखिए कि परदादी ने पतोहू के लिए पहले बच्चे के रूप में लड़की पैदा होने की मन्नत क्यों माँगी ?
वह ऐसी कौन सी बात रही होगी जिसने लेखक को दिल्ली जाने के लिए बाध्य कर दिया?
बाढ़ की खबर सुनकर लोग किस तरह की तैयारी करने लगे?
‘शहरवासी सिर्फ माटी वाली को नहीं, उसके कंटर को भी अच्छी तरह पहचानते हैं।’ आपकी समझ से वे कौन से कारण रहे होंगे जिनके रहते ‘माटी वाली’ को सब पहचानते थे?
माटी वाली के पास अपने अच्छे या बुरे भाग्य के बारे में ज्यादा सोचने का समय क्यों नहीं था?
लेखक को अंग्रेज़ी में कविता लिखने का अफसोस क्यों रहा होगा?
बाढ़ की सही जानकारी लेने और बाढ़ का रूप देखने के लिए लेखक क्यों उत्सुक था?
रामस्वरूप की अपनी बेटी को उच्च शिक्षा दिलवाना और विवाह के लिए छिपाना, यह विरोधाभास उनकी किस विवशता को उजागर करता है?
भूख मीठी कि भोजन मीठा’ से क्या अभिप्राय है?
अपनी कल्पना से लिखिए कि बच्चन ने लेखक के लिए ‘नोट’ में क्या लिखा होगा?
सबकी जुबान पर एक ही जिज्ञासा-‘पानी कहाँ तक आ गया है?’-इस कथन से जनसमूह की कौन-सी भावनाएँ व्यक्त होती हैं?
आपदाओं से निपटने के लिए अपनी तरफ़ से कुछ सुझाव दीजिए।
ईह! जब दानापुर डूब रहा था तो पटनियाँ बाबू लोग उलटकर देखने भी नहीं गए…अब बूझो!’-इस कथन द्वारा लोगों की किस मानसिकता पर चोट की गई है?
अच्छा है, कुछ भी नहीं। कलम थी, वह भी चोरी चली गई। अच्छा है, कुछ भी नहीं- मेरे पास।’-मूवी कैमरा, टेप रिकॉर्डर आदि की तीव्र उत्कंठा होते हुए भी लेखक ने अंत में उपर्युक्त कथन क्यों कहा?
लेखक ने अपने जीवन में जिन कठिनाइयों को झेला है, उनके बारे में लिखिए।
बाढ़ की खबर सुनकर लोग किस तरह की तैयारी करने लगे?
रामस्वरूप और गोपाल प्रसाद बात-बात पर ”एक हमारा ज़माना था…” कहकर अपने समय की तुलना वर्तमान समय से करते हैं। इस प्रकार की तुलना करना कहाँ तक तर्कसंगत है?
खरीद-बिक्री बंद हो चुकने पर भी पान की बिक्री अचानक क्यों बढ़ गई थी?
कथावस्तु के आधार पर आप किसे एकांकी का मुख्य पात्र मानते हैं और क्यों?
रीढ़ की हड्डी’ शीर्षक की सार्थकता स्पष्ट कीजिए।
इस एकांकी का क्या उद्देश्य है? लिखिए।