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Q1 'जाग तुझको दूर जाना' कविता में कवियत्री मानव को किन विपरीत स्थितियों में आगे बढ़ने के लिए उत्साहित कर रही है?
Ans: जाग तुझको दूर जाना कविता में कवियत्री का मानव को उत्साहित करने का तथ्य यह था कि वह विपरीत परिस्थतियो में भी आगे बढ़े और उन्होंने इसे निम्नलिखित तरीके से प्रस्तुत किया था –
1. कवयित्री कह रही थी कि हिमालय के ह्रदय में कम्पन था यह भूकप पैदा कर सकता था लेकिन आपको आगे बढ़ते रहना था इस कपंन से डरना नही था I2. जब प्रलय आता है तो ऐसे वक्त व्यक्ति घबरा जाता था ऐसे में घबराना नही था आगे बढ़ते रहना था I
3. अगर चारो तरफ घना अँधेरा छाया था कुछ दिख नही रहा था तब बि आपको आगे बढ़ते रहना था I
Q2 'मोम के बंधन' और 'तितलियों के पर' का प्रयोग कवयित्री ने किस संदर्भ में किया है और क्यों?
Ans: इसका आप स्वय उत्तर दे I
Q3 कवयित्री किस मोहपूर्ण बंधन से मुक्त होकर मानव को जागृति का संदेश दे रही है?
Ans: महादेवी वर्मा ने एक ऐसी कविता की रचना की जिसका तात्पर्य देष के लोगो को स्वतंत्रता के प्रति जागरूक बनाना है देश गुलामी के जजीरो में जकड़ा है लोग स्वतत्रता चाहते है लेकिन उस लड़ाई में सीधे तोर पर लड़ने से डरते है वे इसमें भाग लेने से डरते है इसके पीछे का मुख्य कारण यह है कि वह स्वार्थी और आलसी है उनके देशभक्ति की भावना जगाने के लिए जागरण गीतों की रचना की गई थी I
Q4 कविता में 'अमरता-सुत' का संबोधन किसके लिए और क्यों आया है?
Ans: इसके उत्तर आप स्वय और अध्यापक की सलाह से दे I
Q5 'जाग तुझको दूर जाना' स्वाधीनता आंदोतलन की प्रेरणा से रचित एक जागरण गीत है। इस कथन के आधार पर कविता की मूल संवेदना को लिखिए।
Ans: महादेवी वर्मा ने इस कविता में स्वतत्रता के रास्ते में आने वाली कठिनाइयो का वर्णन किया था और भारतीयों के भीतर इन कठिनाइयों से निपटने के लिए गुणों का विस्तार करने की मांग की थी वह मनुष्य को दंड संकल्पित हो जाता था वह अपने आलस्य को दूर करने के लिए प्रेरित होता था कवयित्री इसमें कड़ी मेहनत की गुणवता को विकसित करती थी वह उसे विषम परिस्थति में निडर होकर बढने के लिए कहती थी इस तरह वह उसमे निडरता का गुण समाहित करती थी साथ ही वह उसे अपने लगाव को छोड़ने के लिए कहती थी I
Q6 (क) विश्व का क्रंदन ................... अपने लिए कारा बनाना!
(ख) कह न ठंडी साँस ..................... सजेगा आज पानी।
(ग) है तुझे अंगार-शय्या .................... कलियाँ बिछाना!Ans: आँसू मनुष्य की पवित्रता के प्रतीक होते थे बहते आसुओ में कोई छल नही होता था यह शुद्ध भावना और शुद्ध आत्मा में लगी ठोस के कारण छलकते थे इन आंसुओ का कोई न कोई आधार होता था वह निराधार नही होते थे I
Q7 कवयित्री ने स्वाधीनता के मार्ग में आनेवाली कठिनाइयों को इंगित कर मनुष्य के भीतर किन गुणों का विस्तार करना चाहा है? कविता के आधार पर स्पष्ट कीजिए।
Ans: (1) दीपक के समान जलने को कहा था I (2) फूल के समान खिलने को कहा था I
(3) कठोर स्वभाव के अंदर भी करुणा की भावना को रखना था I
(4) जीवन में सत्य की झलक को दिखाना था I
(5) हर व्यक्ति के अंदर व्याप्त सच्चाई को जानना था IQ8 महादेवी वर्मा ने 'आँसू' के लिए 'उजले' विशेषण का प्रयोग किस संदर्भ में किया है और क्यों?
Ans: इसका उत्तर आप स्वय और अध्यापक से सलाह करके दे I
Q9 सपनों को सत्य रूप में ढालने के लिए कवयित्री ने किस यथार्थपूर्ण स्थितियों का सामना करने को कहा है?
Ans: इसका उत्तर आप स्वय और अध्यापक से सलाह करके दे I